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कोरोना वायरस की इस लहर से जुड़ी कुछ बातें, जिनके बारे में जानकर आप ज्यादा सतर्क रह सकते हैं.
कोरोनावायरस के केस (Coronavirus Cases In India) में इजाफा लगातार जारी है. देश की राजधानी दिल्ली समेत कई राज्यों में कोरोना केस में बढ़ोतरी हो रही है. हालांकि, कई रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि इस बार जिन लोगों को कोरोना हुआ है, उन्हें ज्यादा दिक्कत नहीं हो रही है. इसके अलावा कोरोना के नए वेरिएंट को लेकर भी काफी बातें की जा रही हैं. इसके अलावा लोगों के सवाल है कि इस बार जिन लोगों को कोरोना हो रहा है, उन लोगों के किस तरह के लक्षण (Coronavirus Symptoms) सामने आ रहे हैं और इस लहर में कोरोना कितना खतरनाक है.
ऐसे में आज हम आपको बताते हैं कि इस बार लोगों में कोरोना के किन लक्षणों का सामना करना पड़ रहा है और किन मरीजों की हालत ज्यादा सीरियस हो रही है. जानते हैं कोरोना वायरस की इस लहर से जुड़ी कुछ बातें, जिनके बारे में जानकर आप ज्यादा सतर्क रह सकते हैं.
कोविड की जांच करनी चाहिए?
जीबी पंत अस्पताल के प्रोफेसर डॉक्टर संजय पांडेय ने आकाशवाणी समाचार को बताया है, ‘अगर आप भीड़भाड़ वाली जगह में गए हैं, आपको बुखार हैं या गले में खराश है और ऐसा लगता है कि आपको कोविड वाले लक्षण हैं या आप कोविड के मरीज के संपर्क में आए हैं तो आपको जांच करवानी चाहिए. जांच में अगर संक्रमित पाए जाते हैं तो घबराए नहीं. यह जो वेरिएंट फैला है, यह ओमिक्रोन का ही एक वेरिएंट है, लेकिन सतर्क रहें.’
कोरोना की वर्तमान स्थिति को किस तरह से देखा जा सकता है?
डॉक्टर संजय पांडेय ने कहा है, ‘कोविड छूट के बाद यह निश्चित था कि इसके मामलों में बढ़ोतरी होगी, लेकिन इसमें सबसे अच्छी बात यह है कि जो भी मामले सामने आ रहे हैं, उनमें इसके लक्षण बहुत ही हल्के हैं और अस्पताल में भर्ती होने वाले मरीजों की संख्या भी कम है. दिल्ली में मामले हजार तक आ रहे हैं, लेकिन इसमें चिंता वाली कोई बात नहीं है.
कोविड संक्रमित होने के बाद अभी आइसोलेशन के नए दिशा-निर्देश क्या है?
डॉक्टर ने कहा, ‘आइसोलेशन के दिशा-निर्देश हर देश में अलग अलग है. इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च के दिशा-निर्देश वहीं हैं, जो पहले थे. इनमें ऐसा कोई बदलाव नहीं हुआ है, लेकिन जो लहर जनवरी में आई थी और अभी जो अब आई है इसमें सबसे अच्छी बात ये है कि इसमें मरीज चार-पांच दिनों में ठीक जो रहे हैं.
अभी किस तरह के लक्षण आ रहे हैं?
डॉक्टर ने बताया, ‘अभी दो तरह के मरीज सामने आ रहे हैं. एक जो अन्य बीमारी से ग्रस्त हैं और जांच के बाद संक्रमित पाए गए हैं. दूसरा जो मरीज आ रहे हैं, उनमें हल्के लक्षण हैं, जैसे हल्का बुखार, गले में खराश लेकिन इनमें से अधिक मरीज तीन से चार दिनों में ठीक हो रहे हैं.
कितने दिन के आइसोलेशन की है जरूरत?
डॉक्टर की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार, ‘अगर आपको थोड़े बहुत लक्षण है और तीन दिन तक बुखार नहीं आया है तो आपको इसके तीन दिनों बाद तक आइसोलेशन में रहना है. लेकिन, अगर हल्के-फुल्के लक्षण हैं, साथ में बुखार भी है, तो 10 दिन का आइसोलेशन करना जरूरी है.

Author: News Aap Tak
Chief Editor News Aaptak Dehradun (Uttarakhand)